रायगढ़। राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण एवं राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के निर्देशन में प्रधान जिला न्यायाधीश/ अध्यक्ष जितेन्द्र कुमार जैन के मार्गदर्शन जिला विधिक सेवा प्राधिकरण रायगढ़ न्यायाधीश /सचिव अंकिता मुदलियार के नेतृत्व में जिला स्तरीय बालिका सदन में कार्यस्थल में यौन उत्पीडऩ एवं मादक पदार्थो की रोकथाम पर शिविर का आयोजन किया गया।
आयोजित शिविर में यौन उत्पीडऩ की रोकथाम, निषेध और निवारण अधिनियम, 2013 के संबंध में बताया गया। साथ ही उनके अधिकार एवं उन्हें आने वाली चुनौतियों के संबंध में संबंधित विभाग कैसे सहायता कर सकता है के संबंध में विस्तार से जागरूक किया गया। जिला विधिक सेवा प्राधिकरण रायगढ़ न्यायाधीश/ सचिव श्रीमती अंकिता मुदलियार ने यौन उत्पीडऩ की रोकथाम, निषेध और निवारण अधिनियम 2013 के संबंध में बताया। उन्होंने बताया कि एक सुरक्षित कार्यस्थल न केवल महिलाओं की गरिमा की रक्षा करता है बल्कि एक सकारात्मक और उत्पादक वातावरण का निर्माण करता है उक्त अधिनियम का पालन कर हम महिलाओं को समान अवसर और आत्मसम्मान के साथ आगे बढऩे में मदद कर सकते है। उनके अधिकार एवं चुनौती के संबंध में बताया गया। लोगों से बिना भेदभाव के उनके अधिकारों एवं चुनौती के सबंध में बताया। साथ ही आयोजित शिविर में बालिका सदन में मादक द्रव्य दुरूपयोग एक विश्वप्यापी खतरा बन गया है मादक द्रव्य की लत के अभिशाप से विश्व का कोई भाग अछूता नहीं है, मादक द्रव्य का दुरूपयोग एक गंभीर चिंता के रूप में सामने आया है जो देशों के भौतिक और सामाजिक कल्याण को प्रभावित कर रहा है। अर्थात मादक द्रव्य की समस्या आज पूरे समाज को खोखला कर राष्ट्र के नवनिर्माण में बाधक बन रही है। आयोजित शिविर मे उपस्थित लीगल एड डिफेंस कौंसिल असिस्टेंट पूजा शर्मा, रूपाली, लता एवं बालिका सदन के स्टॉप, पैरालिगल वालिंटियर उपस्थित रहे।
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