5 लाख रुपये तक के हेल्थ इंश्योरेंस को टैक्स फ्री करने की तैयारी, जीओएम की सिफारिश

नई दिल्ली। शनिवार को ग्रुप ऑफ मिनिस्टर्स (जीओएम) की एक बैठक हुई। जिसमें सभी व्यक्तियों के लिए पांच लाख रुपये तक के कवरेज वाले हेल्थ इंश्योरेंस के लिए भुगतान किए गए प्रीमियम पर जीएसटी से छूट देने का निर्णय लिया गया। इस पर अंतिम फैसला जीएसटी काउंसिल में होगा। 

सरकार इंश्योरेंस पर बड़ी छूट देने की तैयारी में है। एक वरिष्ठ अधिकारी ने शनिवार को बताया कि टर्म लाइफ इंश्योरेंस पर लगने वाले जीएसटी को हटाया जा सकता है। इसका लाभ सभी व्यक्तियों को मिलेगा। इसके अलावा सीनियर सिटीजन को हेल्थ इंश्योरेंस के प्रीमियम को भी टैक्स फ्री किया जा सकता है। बता दें, लाइफ और हेल्थ इंश्योरेंस पर जीएसटी दर पर निर्णय लेने के लिए मंत्री समूह की शनिवार को बैठक हुई।

5 लाख रुपये तक के कवरेज पर नहीं लगेगा टैक्स!

इस दौरान वरिष्ठ नागरिकों के अलावा अन्य व्यक्तियों के लिए पांच लाख रुपये तक के कवरेज वाले हेल्थ इंश्योरेंस के लिए भुगतान किए गए प्रीमियम पर जीएसटी से छूट देने का निर्णय लिया गया। इस मामले में अंतिम फैसला जीएसटी काउंसिल द्वारा लिया जाएगा। बता दें, पांच लाख रुपये से अधिक के हेल्थ इंश्योरेंस कवरेज के लिए भुगतान किए गए प्रीमियम पर 18 प्रतिशत जीएसटी लगता रहेगा। वहीं, इस समय टर्म लाइफ इंश्योरेंस और ‘फैमिली फ्लोटर’ पॉलिसी के लिए भुगतान किए गए जीवन बीमा प्रीमियम पर 18 प्रतिशत जीएसटी लगाया जाता है।

एक अधिकारी ने कहा, “जीओएम के सदस्य इंश्योरेंस प्रीमियम पर दरों में कटौती के लिए व्यापक रूप से सहमत हैं। अंतिम निर्णय जीएसटी काउंसिल द्वारा लिया जाएगा।” बिहार के उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने कहा, “मंत्रिसमूह का हर सदस्य लोगों को राहत देना चाहता है। वरिष्ठ नागरिकों पर विशेष ध्यान दिया जाएगा। हम काउंसिल को एक रिपोर्ट सौंपेंगे। अंतिम निर्णय परिषद द्वारा लिया जाएगा।”

पिछले महीने कमिटी बनाने का हुआ था निर्णय

जीएसटी काउंसिल ने पिछले महीने अपनी बैठक में स्वास्थ्य और जीवन बीमा प्रीमियम पर कर के बारे में निर्णय लेने के लिए 13 सदस्यीय मंत्री समूह गठित करने का निर्णय लिया था। सम्राट चौधरी मंत्री समूह के संयोजक हैं। इसमें उत्तर प्रदेश, राजस्थान, पश्चिम बंगाल, कर्नाटक, केरल, आंध्र प्रदेश, गोवा, गुजरात, मेघालय, पंजाब, तमिलनाडु और तेलंगाना के मंत्री शामिल हैं। मंत्री समूह को अक्टूबर के अंत तक काउंसिल को अपनी रिपोर्ट सौंपने का निर्देश दिया गया था।

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