कोरोना संक्रमण को रोकने में युवा आगे बढ़कर सकारात्मक भूमिका निभाएं

 


वैश्विक महामारी के इस दौर में युवाओं को समाज में सकारात्मक भूमिका निभाने के लिए आगे आना चाहिए। राज्य में कोरोना संक्रमण की बढ़ती रफ्तार को देखते हुए आम जनता विशेष कर युवा, स्वयं सेवी स्ंास्थाएं और शासन मिलकर काम करेंगे तो इस पर नियंत्रण कर सकते हैं। युवाओं को स्वयं जागरूक रहना है कोरोना से बचने के लिए और अपने परिवार को, मित्रों को भी इसके तरीके बताना है। सभी को कोरोना अनुकूल व्यवहार जैसे मास्क लगाना, भीड़ वाली जगहों में नहीं जाना, साबुन पानी या सेनेटाइजर से हाथ धोना आदि बार-बार बताना होगा। साथ ही युवाओं को अपने माता पिता और दूसरे बुजुर्गों केा वैक्सीन का महत्व भी बताना होगा तथा वैक्सीन से जुड़ी भ्रांतियों को लेकर भी सही जानकारी देनी होगी और अपुष्ट जानकारी साझा करने से बचना चाहिए। सही जानकारी राज्य शासन, स्वास्थ्य विभाग या भारत सरकार की अधिकृत वेबसाइट, विश्व स्वास्थ्य संगठन आदि की वेबसाइट आदि से लेकर ही सोशल मीडिया में साझा करना चाहिए। आम लोगों मंेे यह प्रचारित करना होगा कि वैक्सीन लगाने के बाद भी मास्क लगाना और दूसरी सावधानियां जरूरी हैं क्योंकि वैक्सीन की दोनो डोज लगने के बाद भी 70-80 प्रतिशत सुरक्षा ही मिलती है। नए निर्देश के बाद वैक्सीन की पहली डोज के 4 से 8 सप्ताह के बाद दूसरी डोज लगाई जा रही है दूसरी डोज के 15 दिन बाद शरीर में एंटीबाडी बनती है, यही एंटीबाडी शरीर को सुरक्षा देती है, तब तक और उसके बाद भी संक्रमण से बचने के लिए कोविड अनुकूल व्यवहार करना जरूरी है, यह प्रचारित किया जाना होगा।

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